Ban on Fire Crackers: हरियाणा में दिवाली पर लोगों के लिए बड़ा झटका, पटाखों पर प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने दिया ये आदेश

हरियाणा में लोग इस बार दिवाली पर पटाखे नहीं फोड़ पाएंगे। राज्य में पटाखों पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने राज्य में पटाखों के निर्माण, बिक्री और संचालन पर प्रतिबंध लगा दिया है। यह प्रतिबंध अगले आदेश तक जारी रहेगा। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने यह फैसला राज्य में बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए लिया है। लोग ग्रीन पटाखे ही चला सकेंगे।
हरियाणा राज्य प्रदूषण बोर्ड ने यह कदम इसलिए उठाया है क्योंकि दिवाली पर पटाखों से प्रदूषण का स्तर खतरनाक हो जाता है। बोर्ड ने सिर्फ ग्रीन पटाखों की अनुमति दी है। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड यह प्रतिबंध सुप्रीम कोर्ट और नेशनल ग्रीन अथॉरिटी (एनजीटी) के आदेशों के आधार पर लगाया गया है।
इस संबंध में बोर्ड ने राज्य के सभी जिला उपायुक्तों को पत्र लिखकर इसका सख्ती से पालन करने के निर्देश दिए हैं. बोर्ड ने अपने पत्र में कहा है कि बढ़ते प्रदूषण को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि प्रदूषण का स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ रहा है। अब इससे विकट स्थिति पैदा हो रही है।
हरियाणा राज्य प्रदूषण बोर्ड ने कहा है कि इसी तरह बढ़ते प्रदूषण को लेकर एनजीटी समय-समय पर आदेश जारी करता रहा है. बोर्ड ने कहा है कि राज्य में प्रदूषण का स्तर अक्टूबर से जनवरी तक ज्यादा है बढ़ती है। इससे बच्चों, बुजुर्गों और बीमार लोगों को सांस लेने में दिक्कत होती है। इसलिए जनकल्याण के लिए पटाखों पर प्रतिबंध लगाया गया है।
हरियाणा में होलसेल पटाखों का कारोबार 500 करोड़ रुपये से लेकर 700 करोड़ रुपये तक है। राजस्थान में भी यह कारोबार एक हजार करोड़ रुपए तक का है। अकेले उत्तर प्रदेश में पटाखों का कारोबार दो हजार करोड़ का है। पटाखों पर प्रतिबंध का असर हरियाणा के साथ-साथ पड़ोसी राज्यों के थोक विक्रेताओं पर पड़ेगा। करनाल, यमुनानगर, फरीदाबाद और अन्य जिलों में पटाखा फैक्ट्रियां हैं।